तारीख पर तारीख़.....निर्भया की मां का सब्र फिर टूटा,
कोर्ट में रो पड़ीं, जाते-जाते जज से कहा,
मेरा भरोसा और उम्मीद अब टूट रहा
निर्भया के गुनहगारों का नया डेथ वॉरंट जारी करने की मांग पर ट्रायल कोर्ट में सुनवाई हुई, अदालत में दोषी पवन गुप्ता ने कहा कि उसके पास कोई वकील नहीं है, इस पर अदालत ने उसे कानूनी मदद देने की पेशकश की।
दोषी को सहायता देने की बात पर निर्भया की मां ने कोर्ट में कहा- मामले को 7 साल हो चुके हैं, मैं भी इंसान हूँ, मेरे अधिकारों का क्या होगा, मैं आपके सामने हाथ जोड़ती हूँ, कृपया डेथ वॉरंट जारी कर दीजिए, इसके बाद निर्भया की मां कोर्ट में रो पड़ीं।
दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद अदालत ने मामले की सुनवाई गुरुवार तक के लिए स्थगित कर दी।
सुनवाई स्थगित होने की बात सुनकर निर्भया की मां एक बार फिर रो पड़ीं और कोर्ट रूम से बाहर जाते हुए बोलीं, “अब मेरा भरोसा और उम्मीद टूट रही है।"
अदालत को दोषियों की तरफ से देर करने की रणनीति समझनी चाहिए, अगर अब दोषी पवन को नया वकील दिया जाएगा, तो केस की फाइलें देखने और समझने में उसे और समय लगेगा।
उन्होंने कहा, मैं अपनी बेटी को न्याय दिलाने के लिए भटक रही हूं, दोषी सजा में देरी की तरकीबें अपना रहे हैं। मैं नहीं जानती कि अदालत यह बात क्यों नहीं समझ रही।
दोषी अपनी आखिरी सांस तक कानूनी मदद का हकदार:जज
अदालत ने कहा, कोई भी दोषी अपनी आखिरी सांस तक कानूनी मदद पाने का हकदार है।
कोर्ट ने तिहाड़ जेल के अधीक्षक को वकीलों की सूची दोषी पवन को सौंपने के निर्देश दिए।
वहीं पवन को अपनी पसंद का वकील चुनने की इजाजत भी दी, इसके बाद दिल्ली विधिक सहायता प्राधिकरण ने पवन के पिता को वकीलों की सूची सौंपकर अपने वकील का चुनाव करने को कहा।